Super Exam Physics Communication System / संचार तंत्र Question Bank इलेक्ट्रॉनिकी एवं संचार

  • question_answer
    पी -टाइप जर्मेनियम प्राप्त करने के लिए जर्मेनियम को युग्म होना चाहिए।

    A) ट्राइवैलेंट अशुद्धता से

    B)   टेट्रावैलेंट अशुद्धता से

    C)   पेंटावैलेंट अशुद्धता से

    D)   उपर्युक्त में से कोई नहीं।

    Correct Answer: A

    Solution :

    उत्तर - ट्राइवैलेंट अशुद्धता से
    व्याख्या - शुद्ध जरमेनियम या सिलिकॉन में त्रि-संयोजी पदार्थ एल्युमिनियम (AI), बोरॉन (b), इंडियम (In) या गेलियम (Ga) को अशुद्धि के रूप में मिलाया जाये तो प्राप्त अशुद्ध अर्धचालक P - प्रकार का अर्धचालकं कहलाता है। त्रि-संयोजी पदार्थ की संयोजकता तीन होती है। अर्थात इसके संयोजी कक्ष में तीन इलेक्ट्रॉन होते हैं। जब इस अशुद्धि को शुद्ध जरमेनियम या सिलिकॉन में मिलाया (Doping प्रक्रिया द्वारा) जाता है। तो अशुध्दि के तीन संयोजी इलेक्ट्रॉन जरमेनियम के तीन परमाणु के तीन इलेक्ट्रॉन से सह-संयोजक बंध बना लेते हैं। जबकि यम के चौथे परमाणु के इलेक्ट्रॉन से सह-संयोजक बन्ध नहीं बन पाता क्योंकि अशुद्धि के केवल तीन ही संयोजी इलेक्ट्रान होते हैं।
    इसीलिए विसंयोजक अशुद्धि (ट्राइवैलेंट अशुद्धि) से अपमिश्रित अर्धचालक P प्रकार के अर्द्धचालक कहलाते हैं।


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